होशियारपुर : विजय सांपला ने पंजाब के कैबीनेट मन्त्री नवजोत सिंह सिद्धु द्वारा अपना इस्तीफा पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को सौंपे जाने के मामले पर कहा की एक पदमुक्त अध्यक्ष राहुल गांधी को स्वंय को पदमुक्त करने का अनुरोध करना अवसरवादी, राजनीति का गैर जिम्मेदाराना कदम है।दलबदलू नेता नवजोत सिंह सिद्धू द्वारा यह कहना की उन्होनें 10 जून को इस्तीफा सौंप दिया था प्रश्न खड़ा करता है की उन्होनें अपना त्याग पत्र राज्यपाल अथवा कैप्टन अमरिन्दर सिंह को क्यो नही भेजा। यह साफ साफ संकेत है कि सिद्धु राहुल को इस्तीफा भेज कर कैप्टन पर दबाव बनाना चाहता था। पर आखिरकार पंजाब की राजनीति में चल रहे एक लंबे नाटक का पटापेक्ष हो ही गया। क्रिकेटर से सिने स्टार व अब नेता बने नवजोत सिंह सिद्धू ने आखिरकार न झुकते हुए पंजाब कैबिनेट के पद से अपना इस्तीफा दे ही दिया।
सिद्धू ने आज अपने अधिकारिक टविट अकाउंट से यह बात शेअर कर बताया कि उनके द्वारा जून महीने में ही अपना इस्तीफा कांग्रेस प्रधान राहुल गांधी को भेज दिया था। पंजाब में मुखयमंत्री कैप्टन अमरेंद्र सिंह व नवजोत सिंह सिद्धू के मध्य लंबे समय से आपसी तनातनी से जहां विभागीय काम अटका एवं आम जनता को परेशानी हुई पंजाब के लोग कांग्रेस की सरकार में खुद को ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं। हाल ही में सीएम अमरेंद्र द्वारा सिद्धू का विभाग लोकल बाडी छीनकर बिजली विभाग थमा दिया गया। परंतु जो व्यक्ति लोकल बॉडी विभाग में कुछ ना कर सका उसे किस जिम्मेवारी से बिजली विभाग दिया गया। पंजाब में कांग्रेस का अंतरकलह यह साबित कर रहा है पंजाब का राजा हो या मंत्री कोई भी पंजाब की आवाम की तरफ ध्यान ना दे कर आपसी स्वार्थ पूरे करने एवं एक दूसरे से रंजिशें निकालने में लगे हुऐ है। जहां एक तरफ पंजाब का युवा नशों की गिरफ्त में जकड़ता जा रहा है,राज्य में लूटपाट की घटनाएं बढ़ रही है, जेलों में बढ़ती हुई गैंगवार आए दिन सिर दर्द के कारण बन रही हैं पंजाब तरक्की की तरफ बढने की बजाए पिछड़ता जा रहा है और कैप्टन साहब अपनी मौज में व्यस्त है।
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