जलंधर : पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने आज स्थानीय बुटा मंडी में लड़कियों के लिए डिग्री कॉलेज का नींव पत्थर रखने के बाद अगले तीन वर्षों में उनकी सरकार द्वारा राज्य में 50 कॉलेज स्थापित करने का लक्ष्य पूरा करने का ऐलान किया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ने सिफऱ् दो वर्षों में 17 कॉलेज स्थापित करने की प्रक्रिया आरंभ की है जबकि पिछली सरकार ने अपने एक दशक के शासन के दौरान केवल 30 कॉलेज स्थापित किये। उन्होंने कहा कि शिरोमणि अकाली दल-भाजपा सरकार ने वर्ष 2008 में यहाँ कॉलेज बनाने का ऐलान किया था परन्तु इस सम्बन्ध में कोई भी प्रगति नहीं की। उन्होंने कहा कि इसका केवल नाम के लिए ऐलान किया था परन्तु इसको पूरा नहीं किया।
बुटा मंडी में बनाए जा रहे डिग्री कॉलेज संबंधी बात करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि यह इस क्षेत्र की एक बहुत पुरानी माँग थी जिसको पहली बार 1992 में उठाया गया था। उन्होंने बताया कि यह कॉलेज 3 एकड़ क्षेत्रफल पर 13 करोड़ रुपए की लागत से डेढ़ वर्ष में बन कर तैयार हो जायेगा। यह ज़मीन मंडी बोर्ड द्वारा उच्च शिक्षा विभाग को तबदील की गई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि समानता के सिद्धांतों पर समाज के निर्माण और सामाजिक न्याय के लिए शिक्षा सबसे शक्तिशाली साधन है और उच्च शिक्षा का प्रसार समस्या की हर मजऱ् की दवा है। उन्होंने कहा कि रिवायती तौर पर बुटा मंडी सामाजिक और आर्थिक तौर पर हाशीए पर पहुँचे वर्गों का क्षेत्र था जिनको लम्बे समय तक उच्च शिक्षा के मौकों से वंचित रखा गया। कॉलेज की इस इमारत में प्रशासनिक ब्लॉक, आर्टस और विज्ञान ब्लॅाक, ज्यूलोजी /बोटनी लैब और विभिन्न संास्कृतिक /शैक्षिक सरगर्मियों के लिए बहुमंतवी हाल होगा।
कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने दोहराया कि कांग्रेस सरकार उन विधान सभा हलकों में नये डिग्री कॉलेज खोलेगी जिनमें डिग्री कॉलेज नहीं हैं। इसका उद्देश्य पंजाब के सभी ज़रूरतमन्द वर्गों को मानक शिक्षा उपलब्ध करवाना है। उन्होंने कहा कि जालंधर को दो डिग्री कॉलेज मिलेंगे जिनमें एक बुटा मंडी और दूसरा शाहकोट में होगा। इससे पहले मुख्यमंत्री का स्वागत करते हुए विधायक सुशील कुमार रिंकू ने कहा कि उनके हलके लिए आज का दिन बहुत ऐतिहासिक है जब कांग्रेस सरकार ने लड़कियों के डिग्री कॉलेज संबंधी लम्बे समय से चली आ रही माँग को पूरा किया है। उन्होंने मुख्यमंत्री को बताया कि जालंधर पश्चिमी हलके लोगों ने कॉलेज स्थापित करने संबंधी इस माँग के लिए 107 दिन लम्बा विरोध किया। उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार का यह यत्न इस क्षेत्र में और प्रसार करेगा। उन्होंने इस क्षेत्र के लिए मैडीकल कॉलेज की भी माँग की जिससे दोआबा के लोगों को बढिय़ा स्वास्थ्य सहूलतें उपलब्ध करवाई जा सकें। रिंकू ने मुख्यमंत्री को 85 वें संवैधानिक संशोधन इसकी असली भावना के अनुसार लागू करने की अपील की।
संसद मैंबर चौधरी संतोख सिंह ने कहा कि कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने थोड़े समय में ही कॉलेज की लंबे समय से लम्बित पड़ी माँग को स्वीकृत कर लिया है जिसका ऐलान जालंधर में पिछले वर्ष डा. बी.आर. अम्बेडकर के जन्म दिवस के मौके पर किया गया था। संसद मैंबर ने जालंधर में टाटा ग्रुप की तरफ से 112 करोड़ से शुरू किये जा रहे कौशल विकास प्रोजैक्ट के लिए मुख्यमंत्री का धन्यवाद किया। इस संबंधी सहमति पत्र पर पहले ही हस्ताक्षर किये जा चुके हैं। उन्होंने जलंधर में अत्याधुनिक सुपर स्पैशिलटी अस्पताल और मैडीकल कॅालेज की भी माँग की। उन्होंने 85वे संशोधन को इसकी असल भावना के अनुसार लागू करने के लिए मुख्यमंत्री को विनती की।
गुरदासपुर से लोक सभा मैंबर सुनील जाखड़ ने कहा कि सरहद पर लगातार तनाव बना हुआ है और हमें समूचे देश की भलाई के लिए अरदास करनी चाहिए। शिक्षा के क्षेत्र में नया मील पत्थर कायम करने के लिए मुख्यमंत्री का धन्यवाद करते हुए जाखड़ ने कहा कि यह शिक्षा संस्था सेहतमंद और शक्तिशाली राष्ट्र निर्माण के लिए बड़ा तोहफ़ा है। उन्होंने अनुसूचित जातियों के हितों खासकर पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप स्कीम को अनदेखा करने के लिए केंद्र सरकार की तीखी आलोचना की। उन्होंने कहा कि हमें प्रत्येक के लिए शिक्षा उपलब्ध करवाने के डॉ. बी.आर.अम्बेडकर के सपने को हकीकत में लाने के लिए इकठ्ठा होकर काम करना चाहिए। उन्होंने कहा कि आगामी समय के दौरान देश के लोग निर्णयात्मक फ़ैसला लेंगे।
इस दौरान चौधरी संतोख सिंह, विधायक सुशील कुमार रिंकू, प्रगट सिंह, चौधरी सुरिन्दर सिंह, रजिन्दर बेरी, अवतार सिंह बावा हेनरी, हरदेव सिंह लाडी, सीनियर डिप्टी मेयर सुरिन्दर कौर और काऊंसलर सुनीता रिंकू ने डॉ. बी आर अम्बेदकर की तस्वीर देकर मुख्यमंत्री का सम्मान किया। इस मौके पर मुख्यमंत्री के मीडिया सलाहकार रवीन ठुकराल, विधायक राज कुमार चब्बेवाल, मेयर जगदीश राज राजा, पूर्व मंत्री महिन्द्र सिंह केपी, डिप्टी मेयर हरसिमरजीत सिंह बंटी, एडीशनल चीफ़ सैक्रट्री उच्च शिक्षा एस. के. संधू, डिवीजनल कमिश्नर बी. पुरशारथा और डिप्टी कमिश्नर वरिन्दर शर्मा के अलावा ओ.एस.डी. मुख्यमंत्री पंजाब श्री गुरप्रीत सिंह सोनू ढेसी, श्री अमृत खोसला, श्री राजिन्दरपाल सिंह राणा रंधावा, श्री बलदेव सिंह देव, श्री सुखविन्दर सिंह लाली, श्री अश्विन भल्ला आदि अन्य भी उपस्थित थे।