जलंधर-सफाई करमचारियों (एनसीएसके) के लिए राष्ट्रीय आयोग के सदस्य स्वामी सदानंद ने आज कहा कि जिला प्रशासन से उनके लिए बने कल्याणकारी योजनाओं के प्रभावी कार्यान्वयन से सफाई करमचारियों के हितों की रक्षा के लिए कहा गया है।
जिला प्रशासन के अधिकारियों के साथ स्थानीय सर्किट हाउस में एक समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए एनसीएसके के सदस्य ने कहा कि देश में इस सबसे गरीब स्तर के साथ बहुत सारे अन्याय हुए हैं और यह भी कहा गया है कि यह जीवन बदलना सही समय था इन लोगों, जिन्होंने अतीत में बहुत से पीड़ित हैं, उनकी सुरक्षा के लिए उपचारात्मक उपाय कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि समाज के इन कमजोर और वंचित वर्गों के हितों को सुरक्षित करने की जरूरत है, जिसके लिए आयोग समर्पित रूप से काम कर रहा था। स्वामी सदानंद ने अधिकारियों को राज्य में सफाई सीवाकों के अभिभावकों के रूप में कार्य करने के लिए प्रोत्साहित किया।
एनसीएसके के सदस्य ने कहा कि अधिकारियों को जिले में सफाई सिवाकों के हितों की रक्षा के लिए खुद को संवेदनशील बनाने की जरूरत है। स्वामी सदानंद ने आगे कहा कि यह सुनिश्चित करने के लिए जिला प्रशासन का बाध्य कर्तव्य था कि मैनुअल स्कावेन्गिंग का अभिशाप पूरी तरह से जिले से मिटा दिया गया था। उन्होंने कहा कि इस संबंध में अधिकारियों के हिस्से पर किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
इस अवसर पर उपस्थित अन्य प्रमुखों में अतिरिक्त डिप्टी कमिश्नर श्री जसबीर सिंह, पुलिस अधीक्षक श्री बकर सिंह, जिला शिक्षा अधिकारी श्री सतनाम सिंह, जिला कल्याण अधिकारी श्री लखविंदर सिंह, सहायक श्रम आयुक्त श्री सुखजींदर सिंह, तहसील कल्याण अधिकारी सुश्री सरबजीत कौर और अन्य।