कल्याण केसरी न्यूज़ अमृतसर 5 दिसंबर ; – डिप्टी कमिश्नर अमृतसर और डायरेक्टर एग्रीकल्चर पंजाब एस.जसवंत सिंह के आदेशों और जिला मुख्य कृषि अधिकारी डॉ. जतिंदर सिंह गिल और एओ डॉ. हरप्रीत सिंह के नेतृत्व में कृषि विस्तार अधिकारी स. प्रभदीप सिंह गिल चेतनपुरा जिले के ब्लॉक में उन्होंने विश्व मृदा दिवस मनाते हुए अपने मंडल के किसानों के खेत-खलिहानों में जाकर किसानों से अपील की है कि जब भी विभाग उनके खेतों से मिट्टी का नमूना लेने आये तो वे सहयोग अवश्य करें। उन्हें धान की पराली व गेहूं की पराली या अन्य अवशिष्ट को जलाना नहीं चाहिए बल्कि उसे खेत में ही मिला देना चाहिए, जिससे भूमि की उर्वरा शक्ति बढ़ेगी।
उन्होंने कहा है कि कृषि अपशिष्ट जलाने से हमारी भूमि के उपजाऊ तत्व नष्ट हो जाते हैं, इससे पर्यावरण भी प्रदूषित होता है और कभी-कभी इसका धुंआ और आग भी दुर्घटनाओं का कारण बनती है।उन्होंने कहा कि किसान प्रकृति का सच्चा मित्र है और जो किसान पूरी दुनिया का पेट भरता है उसे उत्पादक नहीं कहा जा सकता। उन्होंने कहा कि किसान पूरे समाज का सम्माननीय है और पूरा समाज उनसे पराली न जलाने की अपील करता है।इस अवसर पर एईओ मनदीप सिंह खुल्लर भी इस दिन को मनाने के लिए अपने सर्कल में मौजूद थे। प्रभदीप गिल ने कहा कि पर्यावरण में दबाव के कारण आ रहे बदलावों का सबसे ज्यादा असर हमारी खेती पर पड़ता है।और हमने देखा है कि पिछले दिन की लगातार बारिश ने किसानों को सबसे ज्यादा नुकसान पहुंचाया है। इसलिए हमें प्रकृति के प्रति अपने कर्तव्यों को समझते हुए नादर में आग नहीं लगानी चाहिए। विवरण.अधिकारी एस. प्रभदीप सिंह गिल चेतनपुरा ने किसानों से अपील की है कि वे पराली बचाकर रखें क्योंकि इस समय इसकी अच्छी मांग है। उन्होंने कहा कि कुछ किसान पराली की कटाई के बाद बचे अवशेषों में आग लगा देते हैंजो किसी भी तरह से उचित नहीं है, लेकिन इस अवशिष्ट खाद को खेत में ही जुताई कर देना चाहिए, जिससे मिट्टी में उपजाऊ शक्ति बढ़ती है और मिट्टी की उर्वरता बढ़ती है। उन्होंने कहा कि आग लगाने से खेतों में लगे पेड़ भी नष्ट हो जाते हैं और यह आग पक्षियों के लिए भी घातक है।